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महाराष्ट्र और गुजरात जैसे विकसित राज्यों को पछाड़ कर झारखंड देश की चौथी सबसे मजबूत अर्थव्यवस्था बना, नीति आयोग की रिपोर्ट में खुलासा

रांची: झारखंड की आर्थिक सेहत सुधर रही है। महाराष्ट्र और गुजरात विकसित जैसे राज्यों को पीछे छोड़ते हुए झारखंड देश में चौथे पायदान पर पहुंच गया है। वर्ष 2025 की नीति आयोग की रिपोर्ट और राज्य के आर्थिक सर्वेक्षण में यह खुलासा हुआ है।

नीति आयोग की फिस्कल हेल्थ इंडेक्स (एफएचआई) की रिपोर्ट में 18 सामान्य श्रेणी के राज्यों में झारखंड को चौथा स्थान मिला है। रिपोर्ट में राज्यों की वित्तीय स्थिति का आकलन किया गया है। इसमें ओडिशा को पहला, छत्तीसगढ़ को दूसरा और गोवा को तीसरा स्थान मिला है। जबकि बिहार 13वें स्थान पर है। डॉयचे बैंक (इंडिया) की रिपोर्ट में पहले झारखंड नौवें नंबर पर था, जो 2022-23 में पांचवें स्थान पर पहुंच गया था। अब यह एक और पायदान बढ़ गया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि झारखंड ने राजको​षीय स्वास्थ्य में उल्लेखनीय सुधार किया है। राजकोषीय विवेकशीलता और ऋण स्थिरता में पहला स्थान हासिल किया है। झारखंड की वित्तीय नीतियों का असर है कि सामाजिक सेवाओं पर खर्च में भी बढ़ोतरी हुई है। राज्य की वित्तीय स्थिति पहले की तुलना में मजबूत हुई है।

गरीबी दर में भी कमी आई:

शुक्रवार को विधानसभा में पेश आर्थिक र्सवेक्षण में भी कहा गया है कि राज्य की गरीबी दर में महत्वपूर्ण कमी आयी है। 2015-16 में जहां यह दर 42.10% थी, वहीं 2019-21 तक यह घटकर 28.81% हो गई है। बहुआयामी गरीबी सूचकांक (एमपीआइ) भी इस अवधि में 0.202 से घटकर 0.131 हो गया है, जो राज्य की समग्र सामाजिक-आर्थिक प्रगति का प्रमाण है। राज्य की बेरोजगारी दर में भी सुधार हुआ है। 15-59 आयु वर्ग के श्रम बल भागीदारी दर में 2022-23 से 2023-24 के बीच 65.7% से बढ़कर 67.80% हो गयी है। वहीं, ग्रामीण और शहरी इलाकों में बेरोज़गारी दर में गिरावट आयी है। ग्रामीण क्षेत्रों में 2017-18 में बेरोज़गारी दर 8.10% थी, जो 2023-24 में घटकर 0.90% हो गयी है। इसी तरह शहरी क्षेत्रों में बेरोज़गारी दर 10.6% से घटकर 6.1% हो गयी है

क्या है फिस्कल हेल्थ इंडेक्स?

फिस्कल हेल्थ इंडेक्स राज्यों की वित्तीय स्थिति का मूल्यांकन करने वाला एक सूचकांक है, जो उसकी राजस्व संग्रहण, व्यय प्रबंधन और कर्ज प्रबंधन जैसे बिंदुओ पर आधारित होता है। विभिन्न संस्थाएं और संगठन समय-समय पर इस इंडेक्स के माध्यम से राज्यों की वित्तीय सेहत का मूल्यांकन करते हैं। इस रिपोर्ट में राज्यों को राजकोषीय स्वास्थ्य के आधार पर चार समूहों में बांटा गया है। ये समूह हैं – अचीवर, फ्रंट रनर, परफॉर्मर, और एस्पिरेशनल।

किस राज्य को कौन सी रैंकिंग:

1 ओडिशा, 2 छत्तीसगढ़, 3-गोवा, 4- झारखंड, 5- गुजरात,6- महाराष्ट्र,7- उत्तर प्रदेश,8- तेलंगाना, 9- मध्य प्रदेश,10- कर्नाटक.11- तमिलनाडु, 12- राजस्थान, 13- बिहार, 14- हरियाणा,15- केरल, 16- पश्चिम बंगाल,17-आंध्र प्रदेश,18- पंजाब।

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